क्या दामाद अपने ससुर की संपत्ति का दावा कर सकता है? कानून की सच्चाई
भारतीय परिवारों में दामाद को बेटों की तरह सम्मान दिया जाता है। अक्सर यह सवाल उठता है कि क्या दामाद अपने ससुर की संपत्ति पर कानूनी हक जमा सकता है? यह विषय संवेदनशील भी है और कानूनी रूप से बहुत स्पष्ट भी। आइए समझते हैं इसकी सच्चाई।
कानूनी स्थिति: दामाद और ससुर की संपत्ति
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हिंदू उत्तराधिकार अधिनियम 1956 के अनुसार दामाद का अपने ससुर की संपत्ति पर कोई जन्मसिद्ध अधिकार नहीं होता।
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केवल कानूनी उत्तराधिकारी (जैसे बेटा, बेटी, पत्नी, माता-पिता) को ही संपत्ति पर हक होता है।
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दामाद को हक तभी मिल सकता है जब:
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ससुर अपनी वसीयत (Will) में दामाद का नाम लिखें
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या संपत्ति दान-पत्र (Gift Deed) के जरिए दामाद को सौंप दें
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विशेषज्ञ की राय: Can a Son-in-Law Claim Father-in-Law Property Rights in India
कानून विशेषज्ञों का कहना है कि दामाद का हक केवल रिश्तों तक सीमित है, कानूनी अधिकारों तक नहीं।
Advocate Anil Sharma के अनुसार:
“दामाद का संपत्ति पर कोई वैधानिक हक नहीं है। केवल वसीयत या उपहार के माध्यम से ही संपत्ति दामाद को मिल सकती है। अन्यथा, वह कानूनी उत्तराधिकारी नहीं माना जाता।”
कब दामाद संपत्ति का लाभ उठा सकता है?
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वसीयत (Will) – अगर ससुर ने स्पष्ट रूप से दामाद का नाम लिखा है।
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गिफ्ट डीड (Gift Deed) – जीवित रहते हुए संपत्ति दान कर दी जाए।
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ट्रस्ट या पावर ऑफ अटॉर्नी – खास परिस्थितियों में दामाद को सीमित अधिकार दिए जा सकते हैं।
परिवार और समाज की दृष्टि
भारतीय समाज में अक्सर दामाद को बेटे के समान माना जाता है। लेकिन भावनात्मक रिश्ते और कानूनी अधिकारों में अंतर होता है। इसलिए परिवारों को चाहिए कि वे वसीयत बनवाकर स्पष्ट कर दें कि उनकी संपत्ति का उत्तराधिकारी कौन होगा। इससे भविष्य में विवाद टलते हैं।
Can a Son-in-Law Claim Father-in-Law Property Rights in India – मुख्य बातें
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दामाद का जन्मसिद्ध हक नहीं है।
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केवल वसीयत या गिफ्ट डीड से अधिकार मिल सकता है।
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भावनात्मक रिश्ते कानूनी अधिकार नहीं बनाते।
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विवाद से बचने के लिए परिवार को स्पष्ट उत्तराधिकार योजना बनानी चाहिए।
निष्कर्ष
सीधा उत्तर है – दामाद अपने ससुर की संपत्ति पर अपने आप हक नहीं जता सकता। लेकिन अगर ससुर चाहें तो कानूनी प्रक्रिया के तहत उसे उत्तराधिकारी बना सकते हैं। परिवार में पारदर्शिता और सही कानूनी सलाह इस स्थिति को सहज बना सकती है।
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Disclaimer
यह लेख केवल सामान्य जानकारी देने के लिए है। यह कानूनी सलाह (Legal Advice) नहीं है। किसी भी व्यक्तिगत मामले के लिए योग्य वकील से संपर्क करें।
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